न्यूज डेस्क, अमर उजाला, पटना
Updated Sun, 16 Aug 2020 10:33 AM IST

पटना के गांधी मैदान में स्वतंत्रता दिवस के मौके पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार
– फोटो : Twitter
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मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शनिवार को पटना के गांधी मैदान में स्वतंत्रता दिवस के मौके पर ध्वजारोहण के बाद अपने संबोधन के दौरान नाम लिए बगैर अपनी आलोचना करने वालों को खरी-खोटी सुनाई।
उन्होंने सरकार की आलोचना पर नाराजगी जताई। नीतीश ने कहा कि घर बैठे कुछ भी ट्वीट कर देना फैशन हो गया है। गौरतलब है कि इन दिनों राज्य में कोरोना, बाढ़, कानून-व्यवस्था, भ्रष्टचार और सुशासन के मुद्दों पर न केवल राष्ट्रीय जनता दल नेता तेजस्वी यादव, बल्कि सरकार में सहयोगी लोक जनशक्ति पार्टी सुप्रीमो चिराग पासवान भी ट्वीट कर नीतीश कुमार व उनकी सरकार पर लगातार हमले कर रहे हैं।
नियोजित शिक्षकों के लिए जल्द लागू होगी सेवा शर्त
नीतीश कुमार ने संबोधन के दौरान राज्य सरकार के कार्यों व उपलब्धियों को बताया। साथ ही अगामी कार्ययोजना की जानकारी दी। शिक्षकों की बहाली और नियोजित शिक्षकों की सेवा शर्तों में बदलाव को लेकर लोकप्रिय घोषणाएं भी कीं। नीतीश कुमार ने कहा कि शिक्षकों की सेवा शर्तों को बेहतर बनाने के लिए सीघ्र नई सेवा शर्त नियमावली लाई जाएगी। उन्हें ईपीएफ सेवा का भी लाभ मिलेगा।साथ ही 33 हजार 916 शिक्षकों की बहाली जल्द किए जाने की घोषणा की।
कोरोना के बाद हालात बदल गए
नीतीश कुमार ने कहा कि कोरोना के बाद हालात बदल गए हैं। पूरे देश की यही स्थिति है। सभी चिकित्सकों और स्वास्थ्यकर्मियों का हम सम्मान करते हैं जो इस महामारी के समय बेहतर काम कर रहे हैं। सभी इस समय अपने-अपने तरीके से काम कर रहे हैं। बड़े पैमाने पर जांच शुरू कर दिया गया है। हर दिन एक लाख से ज्यादा लोगों की जांच की जा रही है।
प्रचार पर भरोसा नहीं
मुख्यमंत्री ने कहा कि हम प्रचार से ज्यादा काम पर भरोसा करते हैं। बाढ़ पीड़ित परिवारों को हम छह हजार रुपया प्रति परिवार दे रहे हैं। 14 अगस्त तक सात लाख 79 हजार परिवार को 467 करोड़ की राशि दी गई और आगे भी दी जाएगी। ये हमारा तीसरा टर्म है और हम विधि-व्यवस्था, सामाजिक सौहार्द कायम करने में सफल हुए हैं।
सोशल मीडिया पर हो रही आलोचना पर जताई नाराजगी
मुख्यमंत्री ने कहा कि आजकल ‘घर में बैठे कुछ भी ट्वीट कर देना फैशन हो गया है। वह भी बिना यह जाने कि क्या उपलब्धि हासिल की गई है।’ मुख्यमंत्री ने किसी का नाम तो नहीं लिया, लेकिन उनका यह बयान कोरोना महामारी की रोकथाम को लेकर सोशल मीडिया पर हो रही आलोचना को लेकर था।