Gambhir said – It takes many years to build a legacy, but it takes only one minute to perish; Pathan said – Changing the captain in the middle of the tournament is not the right time | गंभीर बोले- विरासत बनाने में लग जाते हैं कई साल, लेकिन नष्ट होने में लगता है केवल एक मिनट ; पठान ने कहा- टूर्नामेंट के बीच में कप्तान चेंज करना सही समय नहीं

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अबु धाबीएक घंटा पहले

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गौतम गंभीर ने साल 2011 और 2017 के बीच केकेआर के कप्तान रहे थे। उनकी कप्तानी में केकेआर ने साल 2012 और 2014 में चैम्पियन बनी थी।

दिनेश कार्तिक ने शुक्रवार को कोलकाता नाइट राइडर्स की कप्तानी छोड़ दी। उसके बाद इयॉन मॉर्गन को टीम की कप्तानी सौंप दी गई। हालांकि मॉर्गन की कप्तानी में भी टीम को शुक्रवार रात भी मुंबई इंडियंस से 8 विकेट से हार का सामना करना पड़ा। मॉर्गन को कप्तान बनाए जाने पर पूर्व कप्तान गौतम गंभीर ने कहा कि विरासत को बनाने में काफी समय लग जाता है। लेकिन इसको नष्ट होने में एक मिनट भी नहीं लगता है।

गौतम ने साल 2011 और 2017 के बीच केकेआर के कप्तान रहे थे। उनकी कप्तानी में केकेआर ने साल 2012 और 2014 में चैम्पियन बनी थी।

गंभीर ने कहा कि टूर्नामेंट के बीच में कप्तान को चेंज करना समझ से परे है। ऐसे में जब दिनेश कार्तिक बेहतर कप्तानी कर रहे थे। टीम चौथे स्थान पर थी और सात मैचों में से चार मैच में जीता था। ऐसा नहीं है कि मॉर्गन टीम में कोई बहुत बड़ा बदलाव कर देंगे। अगर केकेआर को कप्तान को बदलना ही था तो वह मैच से पूर्व ही बदल देते। तब मॉर्गन कोई बदलाव करने की स्थिति में होते है। कप्तान और टीम कोच बेहतर संबंध होना भी जरूरी है।

बैटिंग पर ध्यान देने के लिए कोई बीच में कप्तानी नहीं छोड़ेगा

उन्होंने कहा- मैं इससे सहमत नहीं हूं कि ढाई साल से कप्तानी करने वाला कोई व्यक्ति बैटिंग पर ध्यान देने के लिए टूर्नामेंट के बीच में कप्तानी छोड़े। मेरा मानना है कि आप ऐसा टीम मैनेजमेंट के खुशी और नाराजगी के आधार पर करते हैं। यह सही नहीं है।

टूर्नामेंट के बीच में कप्तान चेंज करना सही नहीं

वहीं पूर्व क्रिकेटर इरफान पठान ने कहा है कि टूर्नामेंट के बीच कप्तान चेंज करने का सही समय नहीं है। उम्मीद है कि केकेआर रास्ते से नहीं भटकेगी। केकेआर प्लेऑफ के पहुंचने के दौर में सबसे आगे है।



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