France | France Government (Emmanuel Macron) Shut Down Muslim Charity BarakaCity. | 26 देशों में 20 लाख लोगों के लिए काम करने वाली इस्लामिक चैरिटी बंद; इमरान बोले- एकजुट हों मुस्लिम देश

पेरिस18 घंटे पहले

फ्रांस सरकार देश के मुस्लिम कट्टरपंथी संगठनों पर सख्त कार्रवाई कर रही है। इसके लिए एंटी टेरर फोर्स को लगाया गया है। (फाइल)

फ्रांस में हिस्ट्री टीचर की हत्या के बाद सरकार ने इस्लामिक संस्थाओं पर शिकंजा कसना काफी तेज कर दिया है। बुधवार को यहां बाराकासिटी नाम के एक इस्लामिक चैरिटी ऑर्गनाइजेशन को बंद कर दिया गया। यह संस्था 26 देशों में करीब 20 लाख लोगों के लिए काम करती थी। फ्रांस सरकार और राष्ट्रपति एमैनुएल मैक्रों ने कुछ दिन पहले कहा था कि इस्लामिक कट्टरपंथ पर सख्ती से प्रहार किया जाएगा।

दूसरी तरफ, फ्रांस में इस्लाम के अपमान के विरोध में पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान का बयान भी आया। उन्होंने कहा- फ्रांस में इस्लामाम के खिलाफ जो कुछ हो रहा है, उसके विरोध में सभी मुस्लिम देशों को एक हो जाना चाहिए।

संस्था ने खुद दी जानकारी
बाराकासिटी ने अपने ट्विटर अकाउंट पर बताया कि फ्रांस सरकार ने इस चैरिटी ऑर्गनाइजेशन को तुरंत प्रभाव से बंद कर दिया है। उसने ये भी कहा कि वो अब उस देश से ऑपरेट करना पसंद करेगी जहां उसे राजनीतिक शरण मिलेगी। संस्था के फाउंडर इदरिस शिमेदी ने तुर्की के राष्ट्रपति एर्दोआन से मदद मांगी है। इदरिस ने ट्वीट में कहा- मैं और मेरी टीम आपके देश में राजनीतिक शरण लेना चाहते हैं। क्योंकि, फ्रांस में हम महफूज नहीं हैं।

नफरत फैला रहा थी संस्था
फ्रांस के गृहमंत्री गेराल्ड डारमेनियन ने बाराकासिटी पर गंभीर आरोप लगाए। कहा- हमारी सरकार ने सही फैसला किया है। बाराकासिटी फ्रांस में नफरत, इस्लामिक कट्टरपंथ फैला रही थी। वो आतंकियों की हरकतों की तारीफ करती थी। ऐसी किसी संस्था को इस देश में रहने का हक नहीं है। हालांकि, संस्था ने गेराल्ड के आरोप खारिज कर दिए। कहा- आपकी इंटेलिजेंस एजेंसियों के पास हमारे खिलाफ कोई सबूत नहीं हैं। संस्था के फाउंडर शिमादी को कुछ दिन पहले गिरफ्तार किया गया था। आरोप है कि फ्रांस की एंटी टेरेरिज्म फोर्स ने उनकी काफी पिटाई भी की थी।

इमरान की अपील
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने मुस्लिम देशों के राष्ट्राध्यक्षों को एक लेटर लिखा। इसमें उनसे कहा- फ्रांस में मुस्लिमों के खिलाफ जो कुछ हो रहा है, वो दुनिया में इस्लामोफोबिया फैलाने की साजिश है। इसके खिलाफ सभी मुस्लिम देशों को एकजुट होने की जरूरत है। इसकी जरूरत खासतौर पर यूरोप में है। फ्रांस में मुस्लिमों के खिलाफ सरकार की कार्रवाई पिछले दिनों तब शुरू हुई जब एक लड़के ने एक हिस्ट्री टीचर की गला रेतकर हत्या कर दी। टीचर पर आरोप था कि उसने क्लास में इस्लाम का अपमान करने वाला चित्र दिखाया था।

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