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- Bihar: Upendra Kushwaha Will Decide Today, Will Go With NDA Or Will Fight Elections Independently
पटना2 घंटे पहले
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उपेंद्र कुशवाहा ने सोमवार रात को वीडियो जारी कर कहा कि मैं मंगलवार को अपना फैसला सभी लोगों को बता दूंगा।
- उपेंद्र कुशवाहा इस बार एनडीए के साथ चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे हैं
- अंदर खाने की रिपोर्ट मानें तो उपेंद्र कुशवाहा की बात एनडीए में पक्की हो गई है
रालोसपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा मंगलवार को अपनी पार्टी के बारे में बड़ा फैसला लेंगे। लगातार चल रही मीडिया रिपोर्ट्स के बाद उपेंद्र कुशवाहा ने सोमवार की देर रात एक वीडियो जारी कर अपने समर्थकों को यह बताया कि वह मंगलवार को अपनी पार्टी के बारे में निर्णय ले लेंगे और सबको अवगत भी करा देंगे कि उनका फैसला क्या है।
उपेंद्र कुशवाहा के बारे में बताया जा रहा है कि वह इस बार एनडीए के साथ चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे हैं और अंदर खाने की रिपोर्ट मानें तो उपेंद्र कुशवाहा की बात एनडीए में पक्की हो गई है। सोमवार को ही रालोसपा के प्रदेश अध्यक्ष भूदेव चौधरी पूरे दिन पार्टी कार्यालय में बैठे रहे, लेकिन शाम को राजद में शामिल हो गए। ऐसे में उपेंद्र कुशवाहा को अपनी पूरी पार्टी टूटने का डर है और उन्होंने आनन-फानन में देर रात एक वीडियो जारी करके अपने कार्यकर्ताओं और नेताओं को संबोधित किया, जिसमें उन्होंने यह कहा है कि वह बिहार हित में फैसला लेंगे।
उपेंद्र कुशवाहा ने अपने वीडियो में कहा है कि बिहार भर में पार्टी के समर्पित कार्यकर्ता और समर्थक जनता राष्ट्रीय लोक समता पार्टी है। सब लोगों के मन मे ये जिज्ञासा है कि राष्ट्रीय लोक समता पार्टी क्या निर्णय लेती है। क्योंकि एक बैठक करके पार्टी के बिहार भर के साथियों ने मुझे अधिकृत कर दिया है। अभी तक मैंने कोई निर्णय नहीं लिया है। मैं आम कार्यकर्ता और बिहार के 12 करोड़ जनता को आश्वस्त करना चाहता हूं कि मैं उनके हितों को ध्यान में रखकर निर्णय लूंगा। इस निर्णय के लिए बहुत इंतजार करने की जरूरत नहीं है। मंगलवार को प्रेस के अपने साथियों को बुलाकर मैं अपने निर्णय की घोषणा कर दूंगा।
2019 में एनडीए से हो गए थे अलग
2014 में हुए लोकसभा के चुनाव के समय उपेंद्र कुशवाहा एनडीए का हिस्सा थे। उन्होंने बीजेपी के साथ मिलकर चुनाव लड़ा था। उन्हें 3 सीटें मिली थी। तीनों सीट पर उन्होंने जीत हासिल की थी और केंद्र में राज्य मंत्री बने थे। 2019 के लोकसभा चुनाव से ठीक पहले उन्होंने एनडीए से अपने आपको अलग कर लिया। मंत्री पद से इस्तीफा दे दिया और महागठबंधन में शामिल हो गए।
उपेंद्र कुशवाहा ने लोकसभा के दो सीट से चुनाव लड़ा और दोनों जगह हार गए। ऐसे में एक बार फिर जब विधानसभा चुनाव की तैयारी चल रही है, ऐन मौके पर तेजस्वी यादव का नेतृत्व नहीं स्वीकार कर करते हुए उपेंद्र कुशवाहा ने महागठबंधन में दरार पैदा की। उसके बाद तेजस्वी यादव और कांग्रेस ने इनसे बात नहीं की। हालात यह हुए कि उपेंद्र कुशवाहा बिना कुछ कहे महागठबंधन से अलग हो गए। अब यह कयास लगाया जा रहा है कि उपेंद्र कुशवाहा या तो एनडीए में रहेंगे या फिर स्वतंत्र रूप से चुनाव लड़ कर किसी फ्रंट में शामिल हो जाएंगे।