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- Ram Vilas Paswan Given Guard Of Honor At Patna Airport : CM Nitish, Tejashwi Yadav Offers Flowers On Dead Body
पटना2 घंटे पहले
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पिता के पार्थिव शरीर को पुष्प अर्पित करते चिराग पासवान।
- विशेष विमान से पटना एयरपोर्ट लाया गया पार्थिव शरीर, सेना के जवानों ने दी सलामी
केंद्रीय मंत्री रामविलास पासवान का पार्थिव शरीर करीब डेढ़ घंटे की देरी से पटना एयरपोर्ट पहुंचा। विशेष विमान के पटना एयरपोर्ट पर लैंड करने से पहले ही मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी समेत पक्ष-विपक्ष के कई नेता वहां पहुंच चुके थे।
पार्थिव शरीर उतारे जाने के बाद सबसे पहले सेना की विशेष टुकड़ी ने उन्हें गार्ड ऑफ ऑनर दिया। इसके बाद भारतीय सेना के अधिकारियों ने सलामी दी। राजकीय सम्मान के बाद पुत्र चिराग पासवान ने उन्हें श्रद्धांजलि दी। पिता के पार्थिव शरीर को पुष्प अर्पित करते चिराग रो पड़े।

पासवान को श्रद्धांजलि अर्पित करते भाई पशुपति पारस
एयरपोर्ट पर इन नेताओं ने दी श्रद्धांजलि
चिराग पासवान के बाद एक-एक कर वहां आए अन्य नेताओं ने भी उनके पार्थिव शरीर पर पुष्पचक्र चढ़ाकर श्रद्धांजलि दी। इनमें भाई पशुपति पारस, नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव, केन्द्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद, गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय, स्वास्थ्य राज्यमंत्री अश्विनी चौबे, डिप्टी सीएम सुशील मोदी, विस स्पीकर विजय चौधरी, मंत्री प्रेम कुमार, राज्यसभा सांसद मनोज झा आदि नेतागण शामिल थे। सबसे अंतिम में सीएम नीतीश कुमार ने भावभीनी श्रद्धांजलि दी। फिर कार्यक्रम का समापन हुआ और पासवान के पार्थिव शरीर को बिहार विधानसभा की ओर ले जाने के लिए तैयार किया जाने लगा।

भतीजे प्रिंस पासवान

डिप्टी सीएम सुशील मोदी

मंत्री प्रेम कुमार

राज्यसभा सांसद मनोज झा

नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव

सीएम नीतीश कुमार
इस दौरान नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव एकमात्र ऐसे व्यक्ति रहे, जिन्होंने पासवान के परिवार के सदस्यों से मुलाकात की और उन्हें दुःख की इस घड़ी में ढांढस बंधाया।

बिहार विधानसभा में पासवान के पार्थिव शरीर का इंतजार करते लोग। यहां सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करना था, लेकिन ऐसा दिखा नहीं।
रास्ते में दोनों तरफ लोजपा कार्यकर्ताओं की भारी भीड़ मौजूद रही
पटना एयरपोर्ट से लेकर लोजपा कार्यालय तक जाने वाले रास्ते में दोनों तरफ लोजपा कार्यकर्ताओं की भारी भीड़ मौजूद थी। सभी रामविलास पासवान जिन्दबाद और अमर रहें, जैसे नारे लगा रहे थे। लंबे समय तक पासवान के संसदीय क्षेत्र रहे हाजीपुर से भी सैकड़ों की संख्या में उनके समर्थक और शुभचिंतक आये थे, जो पार्थिव शरीर को हाजीपुर की धरती पर ले जाने की मांग करते रहे। उनका कहना था कि स्वर्गीय पासवान हाजीपुर की जमीन को अपनी मां मानते थे।