जयपुर। ग्रामीण जिले में कोटपूतली थाना पुलिस ने दो दिन पहले हुए लालाराम मीणा हत्याकांड में सनसनीखेज खुलासा हुआ है। पुलिस ने इस मामले का दो दिन में पर्दाफाश मास्टरमाइंड समेत तीन युवकों को गिरफ्तार कर लिया। हत्या की यह वारदात अवैध संबंध की वजह से रची गई थी। इसमें लालाराम की पत्नी के मुख्य आरोपी से नाजायज रिश्ता था। उसने प्रेमिका के पति को रास्ते से हटाने के लिए हत्या को सड़क हादसे का रूप देने की साजिश रची। लेकिन पुलिस ने मोबाइल कॉल डिटेल्स, सीसीटीवी और गहन पूछताछ के बाद वारदात का खुलासा कर दिया।
एसपी शंकरदत्त शर्मा ने बताया कि वारदात का मास्टरमाइंड गिरफ्तार आरोपी खेमसिंह उर्फ नरेंद्र उर्फ मामन सिंह ,निवासी तन करोड़ी प्रागपुरा है, जबकि अन्य दो आरोपी प्रहलाद बावरिया , निवासी विराटनगर और कमलेश बावरिया , निवासी तहसील तूंगा जयपुर है। एसपी के मुताबिक खेमसिंह उर्फ मामन सिंह का लालाराम की पत्नी से अवैध संबंध था। जिसका पता लालाराम को चला तो उसने पत्नी को खेमसिंह से बातचीत के लिए मना किया। लेकिन मामन सिंह को यह बर्दाश्त नहीं हुआ। उसने अवैध संबंध में बाधा बन रहे लालाराम की हत्या की साजिश रची।
जयपुर रेंज आईजी एस. सेंगाथिर ने बताया कि खेमसिंह ने हत्या की साजिश में अपने परिचित प्रहलाद व कमलेश को रूपयों का लालच देकर साथ लिया। इसके बाद खेमसिंह ने करीब 15 दिन पहले लालाराम को पिकअप की सर्विस करवाने के बहाने से पैसे लेकर बुलाया। तब लालाराम ने चौकी गोरधनपुरा में अपने दोस्त से पैसे दिलवाने की बात कही। लेकिन पैसे नहीं मिले। इसके बाद लालाराम ने कहा कि वह बाद में आकर रूपए दे देगा।
तब आरोपी खेमसिंह ने लालाराम को फोन कर कोटपूतली बुलाया। लालाराम वहां अपनी स्कूटी से पहुंचा। तब खेमसिंह अपने दोस्तों के साथ उसका बर्थडे सेलीब्रेट करने के बहाने लालाराम को केशवाना गांव में स्थित अपने कमरे पर ले गया। वहां बदमाशों ने लालाराम को जमकर शराब पिलाई। इसके बाद उसे खाना खिलाने के बहाने लालाराम को स्कूटी पर ले गए। तब स्कूटी को खेमसिंह उर्फ मामनसिंह चला रहा था और लालाराम स्कूटी पर बीच में और आरोपी कमलेश पीछे बैठा था। वहीं, तीसरा साथी प्रहलाद बावरिया पीछे पिकअप चलाकर आ रहा था।
एडिशनल एसपी रामकुमार कस्वां ने बताया कि तीनों आरोपी लालाराम को बानसूर रोड से होते हुए दयालपुरा गांव के पास सूनसान रोड पर लेकर आए। वहां एक भारी पत्थर पिकअप में रख लिया। इस बीच स्कूटी रोकने पर लालाराम उतर गया और वह नशा ज्यादा होने से सड़क पर ही लेट गया। तब खेमसिंह ने मौका पाकर पिकअप में रखे पत्थर से दो बार लालाराम का सिर कुचलकर हत्या कर दी। इसके बाद शव को पिकअप में डालकर राजनोता रोड पर ले आए। वहां लालाराम मीणा को सड़क पर पटक दिया। वही, उसकी स्कूटी को भी पटक दिया। फिर पिकअप का टायर लालाराम के सिर पर चढ़ाकर कुचल दिया और हत्या को सड़क हादसे का रूप देने की कोशिश की।
वारदात के बाद 22 अगस्त को शव मिलने पर पुलिस ने पहले रोड एक्सीडेंट में मौत का केस दर्ज किया। लेकिन बाद में परिजनों ने लालाराम की हत्या का संदेह जताया। उसकी पत्नी के खेमसिंह से अवैध संबंध की भी बात सामने आई। तब एएसपी कोटपूतली रामकुमार कस्वां के सीओ दिनेश कुमार यादव व सबइंस्पेक्टर रविंद्र कुमार के नेतृत्व में गठित टीम ने पड़ताल शुरु की। जिसमें मोबाइल कॉल डिटेल्स, लोकेशन, सीसीटीवी फुटेज के आधार पर पुलिस ने खेमसिंह व उसके दोस्तों को पकड़कर पूछताछ की तो उन्होंने लालाराम मीणा की हत्या करना स्वीकार कर लिया।
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